tag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post6944416343761887185..comments2023-10-17T13:42:06.127+05:30Comments on मनसा वाचा कर्मणा: मुद मंगल मय संत समाजूRakesh Kumarhttp://www.blogger.com/profile/03472849635889430725noreply@blogger.comBlogger31125tag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-61169130094173395312013-03-10T05:32:23.477+05:302013-03-10T05:32:23.477+05:30I couldn't refrain from commenting. Exceptiona...I couldn't refrain from commenting. Exceptionally well written!<br /><br />Also visit my blog post - <a href="http://www.erovilla.com" rel="nofollow">link</a>Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-38990726441909133392011-08-06T20:49:10.444+05:302011-08-06T20:49:10.444+05:30सार्थक और प्रेरक प्रस्तुति. आभार.
सादर,
डोरोथी.सार्थक और प्रेरक प्रस्तुति. आभार. <br />सादर, <br />डोरोथी.Dorothyhttps://www.blogger.com/profile/03405807532345500228noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-25344780136385445402011-08-06T17:58:53.771+05:302011-08-06T17:58:53.771+05:30बहुत ही सही कह रहे हैं आप |बहुत ही सही कह रहे हैं आप |Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-30156718692607135972011-08-06T15:28:56.114+05:302011-08-06T15:28:56.114+05:30बहुत उपयोगी और सार्थक आलेख
संत जनों की संगति कल्या...बहुत उपयोगी और सार्थक आलेख<br />संत जनों की संगति कल्याणकारी होती है...वीना श्रीवास्तवhttps://www.blogger.com/profile/09586067958061417939noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-87450816397769699932011-08-06T15:08:50.375+05:302011-08-06T15:08:50.375+05:30बहुत ही अच्छी प्रस्तुति ।बहुत ही अच्छी प्रस्तुति ।सदाhttps://www.blogger.com/profile/10937633163616873911noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-62089886678498171802011-08-06T11:08:45.314+05:302011-08-06T11:08:45.314+05:30बहुत ही अच्छा लिखा आपने.. विचारों में एक खुशबू सी ...बहुत ही अच्छा लिखा आपने.. विचारों में एक खुशबू सी है. महसूस करने वाले कर लेते हैं..Manishhttps://www.blogger.com/profile/01119933481214029375noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-59752389742024437442011-03-19T22:20:22.285+05:302011-03-19T22:20:22.285+05:30जैसा ब्लॉग का शीर्षक
वैसे सद्विचार
इन्हें बनाना...जैसा ब्लॉग का शीर्षक <br />वैसे सद्विचार<br />इन्हें बनाना चाहिए<br />अपना आचार।अविनाश वाचस्पतिhttps://www.blogger.com/profile/05081322291051590431noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-53787571607517563302011-03-17T19:26:42.796+05:302011-03-17T19:26:42.796+05:30अर्थात जो मन को प्रिय लगे पर जिसका अंत कल्याणकारी ...अर्थात जो मन को प्रिय लगे पर जिसका अंत कल्याणकारी नहीं होता. जैसे सिगरट ,शराब आदि पीना, व्यर्थ का वार्तालाप (chating) करना, आदि आदि .<br />आनंदका दूसरा मार्ग जो आत्मा के 'सत-चित-आनंद' भाव से पोषित होता है उसे शास्त्रों में ' श्रेय मार्ग ' बतलाया गया है. इस मार्ग का अनुसरण करने से हो सकता है यह शुरू में कष्ट प्रद लगे पर अंत में यही मार्ग हमे निर्मल चिर आनंद प्राप्त कराता है।<br /><br />तत्व यही है, तथ्य यही है,और सार भी यही है।सुज्ञhttps://www.blogger.com/profile/04048005064130736717noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-85225750833232124442011-03-06T11:42:51.476+05:302011-03-06T11:42:51.476+05:30बच्चन साहब भी कहते है....
कोशिश करने वालों के कभी ...बच्चन साहब भी कहते है....<br />कोशिश करने वालों के कभी हार नहीं होती.Rajesh Kumar 'Nachiketa'https://www.blogger.com/profile/14561203959655518033noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-59704518379202337502011-03-06T01:02:55.402+05:302011-03-06T01:02:55.402+05:30सारगर्भित बहुत ही सुन्दर लेख है
नकारात्मक चीजों क...सारगर्भित बहुत ही सुन्दर लेख है <br />नकारात्मक चीजों को नजरंदाक करके ही कुछ सार्थक किया जा सकता है. आशा है आगे भी ऐसे ही पठनीय लेख पढने को मिलेंगे.<br />हार्दिक शुभ कामनाएंउस्ताद जीhttps://www.blogger.com/profile/03230688096212551393noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-59377736865977502882011-03-05T10:32:54.225+05:302011-03-05T10:32:54.225+05:30राकेश जी ,
जय सीया राम
...राकेश जी ,<br /> जय सीया राम <br /> आपकी स्नेह भरी धमकी का असर देख लिजिए । आपने लिखना बंद किया तो लोग इतने अच्छे सद्विचारों से वंचित हो जायेंगें । मुझे समय बहुत कम मिल पाता है । चाहती हूं सबका लिखा पढ़ूं लेकिन आजकल बच्चों की परीक्षाएं हैं । दफ्तर और फिर सामाजिक ज़िम्मेदारिंयां भी कोशिश रहेगी कि सबका लिखा पढ़ूं .-सर्जना शर्मा-https://www.blogger.com/profile/14905774396390857560noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-42189345720184827842011-03-04T22:35:01.839+05:302011-03-04T22:35:01.839+05:30विज्ञान और आध्यात्म का ...अनूठा संगम ..बहुत ही सुन...विज्ञान और आध्यात्म का ...अनूठा संगम ..बहुत ही सुन्दर लेख...परम सौभाग्य मेरा ...आपका कोटि कोटि अभिनन्दन....<br />सादर स्नेह !!!अनुभूतिhttps://www.blogger.com/profile/17816337979760354731noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-78777899452473900782011-03-04T16:45:49.663+05:302011-03-04T16:45:49.663+05:30सार्थक लेख...स्वस्थ चिन्तन...सार्थक लेख...स्वस्थ चिन्तन...Dr (Miss) Sharad Singhhttps://www.blogger.com/profile/00238358286364572931noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-3895301725204410762011-03-04T15:24:10.428+05:302011-03-04T15:24:10.428+05:30सारगर्भित लेख ...ब्लॉग जगत में आप जैसों की ज़रूरत ...सारगर्भित लेख ...ब्लॉग जगत में आप जैसों की ज़रूरत है जो अच्छाइयों को दिखाते हैं .....लेख पढ़ कर मन वचन भी शुद्ध हो जाता है ....संगीता स्वरुप ( गीत )https://www.blogger.com/profile/18232011429396479154noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-37232884858939976952011-03-04T15:07:36.410+05:302011-03-04T15:07:36.410+05:30आपके सार्थक प्रयास को नमन..आपके सार्थक प्रयास को नमन..Kailash Sharmahttps://www.blogger.com/profile/12461785093868952476noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-432505768430687782011-03-04T00:13:08.476+05:302011-03-04T00:13:08.476+05:30आपका आलेख पढते पढते मन 'सत-चित-आनंद' की लह...आपका आलेख पढते पढते मन 'सत-चित-आनंद' की लहरों को छूने लगता है. मन को एक दिशा देने में आपके आलेख निश्चय जी प्रभावी हैं. बहुत शुभकामनाएं.<br /><br />रामराम.ताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-42136064878053064122011-03-03T20:49:09.081+05:302011-03-03T20:49:09.081+05:30I am sorry for being late here .I am sorry for being late here .ZEALhttps://www.blogger.com/profile/04046257625059781313noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-89814612387385813042011-03-03T20:48:13.825+05:302011-03-03T20:48:13.825+05:30.
राकेश जी ,
बहुत ही सारगर्भित बातें कहीं है आपने....<br /><br />राकेश जी ,<br />बहुत ही सारगर्भित बातें कहीं है आपने लेख में । संत जनों का सानिद्ध्य मिल जाए तो जीवन यात्रा आसन हो जाती है । और फिर मोती तो गहरे पानी में उतरने पर ही मिलता है । ब्लॉग जगत में भी एक से बढ़कर एक हीरे मोती हैं । छह माह की अवधी में अच्छे बुरे की थोड़ी परख भी हो गयी है । सार ग्रहण कर , थोथा उड़ाना सीख लिया । बहुत कुछ सीखा है ब्लॉग-जगत में संतजनों की संगत में और काफी-कुछ सीखना अभी बाकी है । <br /><br />.ZEALhttps://www.blogger.com/profile/04046257625059781313noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-45561065422482530502011-03-03T20:18:38.465+05:302011-03-03T20:18:38.465+05:30सुन्दर और ज्ञानवर्धक - मन की अध्यात्म से जुडा आपका...सुन्दर और ज्ञानवर्धक - मन की अध्यात्म से जुडा आपका यह पहलू अच्छा लगा ... कल आपकी पोस्ट चर्चामंच पर होगी... आप चर्चामंच पर और अमृतरस ब्लॉग में आ कर अपने विचारों से अनुग्रहित करे .. आपका स्वागत <br />http://charchamanch.blogspot.com<br />http://amritras.blogspot.comडॉ. नूतन डिमरी गैरोला- नीतिhttps://www.blogger.com/profile/08478064367045773177noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-85915557544905064742011-03-03T09:49:09.604+05:302011-03-03T09:49:09.604+05:30bahut hi badhiya likha hai .jaldi me padhi hoon ph...bahut hi badhiya likha hai .jaldi me padhi hoon phir se aaungi .ज्योति सिंहhttps://www.blogger.com/profile/14092900119898490662noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-30862524006160734222011-03-02T22:48:27.996+05:302011-03-02T22:48:27.996+05:30आदरणीय राकेशजी,
आपकी पोस्ट बहुत बार पढी है मैंने.
...आदरणीय राकेशजी,<br />आपकी पोस्ट बहुत बार पढी है मैंने.<br />आपकी पोस्ट पर टिप्पणी जल्दी से नहीं की जाती.<br />आपने बहुत से विषय समेट दिए इस बार.<br />संत लक्षण,परमानंद लक्षण ,प्रेय मार्ग और श्रेय मार्ग.<br />आपके आनंद के आनंद ने आनंदित कर दिया.<br />आनंद की चाह तो की जा सकती है.<br />व्यवहारिक रूप में चाह के बिना नहीं रहा जा सकता है.<br />लेकिन चाह श्रेय मार्ग की हो न कि प्रेय मार्ग की.<br />शुभ कामनाएं.विशालhttps://www.blogger.com/profile/06351646493594437643noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-30859738842854845122011-03-02T17:33:42.514+05:302011-03-02T17:33:42.514+05:30bahut sunder aur prernadayak post likhi hai, Rakes...bahut sunder aur prernadayak post likhi hai, Rakesh ji. der se aane ki liye kshamaprarthi hoon.Anjana Dayal de Prewitt (Gudia)https://www.blogger.com/profile/13896147864138128006noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-34745713960528433182011-03-02T01:15:21.592+05:302011-03-02T01:15:21.592+05:30राकेश जी,
आपने भी मेरी प्रिय फिल्म आनंद ज़रूर दे...<b>राकेश जी, <br /><br />आपने भी मेरी प्रिय फिल्म आनंद ज़रूर देखी होगी...<br /><br />उस फिल्म का अंत इस पंक्ति से होता है...<br /><br />आनंद मरा नहीं, आनंद कभी मरते नहीं...<br /><br />जो आनंद त्याग कर दूसरे के चेहरे पर खुशी देखने से मिलता है वही परमानंद है...<br /><br />जय हिंद...</b>Khushdeep Sehgalhttps://www.blogger.com/profile/14584664575155747243noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-28885822434121661462011-03-01T21:11:38.573+05:302011-03-01T21:11:38.573+05:30आपके इस सार्थक प्रयास को नमन ....आशा है आप अपने अ...आपके इस सार्थक प्रयास को नमन ....आशा है आप अपने अनुभव और ज्ञान से हम सबको मार्गदर्शन प्रदान करेंगे ....निरंतर लेखन के लिए अनेक शुभकामनायें ..मुझ पर अपना आशीष बनाये रखनाकेवल रामhttps://www.blogger.com/profile/04943896768036367102noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1656329921289531877.post-55232985103465325542011-03-01T14:22:26.444+05:302011-03-01T14:22:26.444+05:30आप जैसे लोगो की इस ब्लॉग जगत में बहुत जरुरत है ,क्...आप जैसे लोगो की इस ब्लॉग जगत में बहुत जरुरत है ,क्योकि यहाँ भी असामाजिक तत्व अपने पर फैलाने में लगे है ! कुछ ब्लॉग पढ़ने पर तौबा करना पड़ता है ..! कृपया आप मेरे ब्लॉग पर भी एक बार आये ..और अपनी आभास भी देकर जाये ! जो मुझे किसी संत के आशीर्वाद से कम नहीं लगेगा !वैसे आप का हर पोस्ट पढ़ता हूँ और जीवन में सिखाने को मिलाता है .मुझे किसी के ब्लॉग पर चुपके से जाने में बहुत संकोच होता है ..अतः कुछ न कुछ टिपण्णी कर ही देता हूँ ! आप के अनुसरण का आभारी हूँ.!G.N.SHAWhttps://www.blogger.com/profile/03835040561016332975noreply@blogger.com